सोमवार, 12 जुलाई 2010

गांवों के उपभोक्ताओं को ठग रही है मोबाईल कम्पनियाँ और TRI सोयी हुयी है और संचार मंत्री दलाली खाने में व्यस्त हैं ......


पिछले दिनों मैं बिहार के सीतामढ़ी जिले के यात्रा पर था और मैंने देखा कि लोगों के पास मोबाईल है लेकिन एक तरह से मोबाईल सिर्फ मोबाईल कंपनियों द्वारा उनको ठगने का जरिया बन चुका है | मैंने पाया कि मोबाईल कम्पनियाँ निम्नलिखित तरीकों से लोगों को ठग रही है .....
1-लोगों द्वारा किसी को कॉल लगाने पर दूसरी ओर से आवाज नहीं आता है पर कॉल चार्ज कट जाता है और ऐसा हर दिन हर उपभोक्ता के साथ होता है ,ऐसी शिकायत तो शहरों में भी आम हो गयी है | ताजा उदाहरण कल रात मेरे मोबाईल 9810752301 पर O9386518228 से जो कि हमारे HONESTY PROJECT सीतामढ़ी के संस्थापक सदस्य मोहन  प्रसाद जी का है से 22:15 मिनट पर कॉल आया लेकिन आवाज नहीं आई दूसरी ओर से जिससे फोन काटकर मैंने अपने मोबाईल 09810752301से 22:16 मिनट पर कॉल मिलाया लेकिन कॉल लग गया और बात नहीं हुयी क्योंकि दूसरी ओर से आवाज नहीं आई ,मेरे कॉल काटने के बाद कॉल चार्ज मेरे मोबाईल से काट लिया गया ? उसके बात लगातार ट्राई करने पर जवाब O9386518228 के स्विच ऑफ होने का आता रहा | जरा सोचिये जिस नंबर से कॉल आया था तथा जिस नंबर पर कॉल लगाने पर कॉल चार्ज कटा था वही फोन दो मिनट में स्विच ऑफ हो गया | कुछ  देर  बाद  23:06 मिनट  पर  फिर कॉल  लगा घंटी बजी सामने  से  आवाज  नहीं  आई  लेकिन कॉल चार्ज  कट गया ? मोबाईल कम्पनियाँ अपने तकनीक और साधन का इस्तेमाल लोगों को सही सुविधा के लिए कम और लोगों को ठगने के लिए ज्यादा कर रही है ? इनकी जाँच अगर ईमानदारी से कि जाय तो सभी मोबाईल कंपनियों के लाइसेंस रद्द हो सकते हैं ?

2-लोगों के मोबाईल में टावर सिग्नल होने के बाबजूद कॉल करने वाले को स्विच ऑफ या नोट रिचेवल सुनने को मिलता है | ऐसा मुझे अपने मोबाइल 09810752301 से दूसरे हाथ में मौजूद 09334737752 पर फोन करने पर मिला जब कि दोनों मोबाईल में टावर सिग्नल था | यह घटना बिहार के सीतामढ़ी के श्रीखंडी भिट्ठा ग्राम कि है | ऐसी घटना से लोगों के बीच विश्वसनीयता पर भ्रम का वातावरण पैदा होता है |कई लोग यह सोचने को मजबूर होते हैं कि जिसको वो कॉल कर रहें हैं वह जानबूझकर मोबाईल बंद रखे हुए है ,जबकि वास्तविकता में मोबाईल कंपनियों कि लापरवाही के वजह से ऐसा हो रहा होता है | इस प्रकार कि घटना सेवा में गंभीर लापरवाही कि ओर इशारा करता है और मोबाईल कंपनियों कि कार्य प्रणाली पर सवालिया निशान लगाता है | सबसे गम्भीर बात यह है कि ऐसी घटनाओं से समाज में सद्भावना को ठेस पहुँचता है |

3- कई उपभोक्ताओं कि शिकायत है कि बिना उनके इजाजत के उनके मोबाईल पर मोबाईल कम्पनियों द्वारा जारी कमाने या यों कहें कि ठगी कि सेवायें एक्टिवेट कर दी जाती है और भोले-भाले उपभोक्ताओं से उस बेकार और बेमतलब के सेवा का शुल्क उनके बेलेंस से काट लिया जाता है ,गांवों के गरीब उपभोक्ताओं को पता तब चलता है जब  वह किसी को कॉल करते हैं या अपना बेलेंस चेक करते हैं | यह खुले आम ठगी है जिसे ह़र-हाल में रोकने कि जरूरत है |

TRI तथा संचार मंत्रालय को गांवों के मोबाईल उपभोक्ताओं का सर्वे कराकर उनको मोबाईल कंपनियों द्वारा किस प्रकार से ठगा जा रहा है कि जानकारी इकठ्ठा कर सम्बंधित मोबाईल कंपनियों पर सख्त से सख्त कार्यवाही करनी चाहिए नहीं तो सेवा के नाम पर ठगी और बढ़ने कि संभावना है जो पूरे देश के लिए शर्मनाक है ! 

4 टिप्‍पणियां:

  1. चोर चोर मौसेरे भाई
    मोबाईल कम्पनी ट्राई

    उपभोक्ताओं की जेब पर दिन दहाड़े डाका डाला जा रहा है।
    ट्राई के लोगों को इससे क्या लेना देना? उसको तो कमीशन फ़िक्स होगा।
    जब चाहे तब अनाप शनाप पैसे काट लिए जाते हैं कोई माई बाप नहीं है।
    अंधेर नगरी चौपट राजा

    जापान में तो मोबाईल काल फ़्री कर दी गयी है।

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  2. बेहद उम्दा पोस्ट के लिए बहुत बहुत बधाइयाँ और शुभकामनाएं!

    आपकी चर्चा ब्लाग4वार्ता पर है यहां भी आएं

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  3. हिंदी ब्लाग लेखन के लिए स्वागत और बधाई
    कृपया अन्य ब्लॉगों को भी पढें और अपनी बहुमूल्य टिप्पणियां देनें का कष्ट करें

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  4. इस नए चिट्ठे के साथ हिंदी ब्‍लॉग जगत में आपका स्‍वागत है .. नियमित लेखन के लिए शुभकामनाएं !!

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